कानपुर के बिल्हौर में शनिवार को आए भीषण तूफान का नजारा रविवार सुबह देख इलाकाई लोगों के आंसू छलक उठे। तेज बारिश और ओलावृष्टि ने फसलें पूरी तरह बर्बाद कर दीं। बेदीपुर गांव में घायल महिला और राजेपुर गांव में फसल देखकर एक किसान की मौत हो गई। रविवार को दोनों पीड़ित परिवारों के गांव पहुंचे स्थानीय विधायक, डीएम, सीडीओ और तहसील के अफसरों ने हरसंभव मदद का भरोसा दिया।
बेदीपुर के ग्राम प्रधान विपिन पाल ने बताया कि शनिवार को गढ़गांव में बुजुर्ग महिला रामदुलारी (65) पति रामपाल तूफान से गिरी छत के नीचे दब गई थीं। हादसे में उनकी रीढ़ की हड्डी, दाहिने पैर समेत कई चोटें लगीं थीं। रात में उपचार के दौरान रामदुलारी की मौत हो गई। आंधी पानी और ओलावृष्टि से हुई तबाही का मंजर देख लोगों को आंसू छलक उठे। लॉकडाउन की मार झेल रहे किसानों पर मौसम का कहर भी खूब बरपा।
पोस्टमार्टम में ज्यादा खून बहने और चोटों के कारण मौत की वजह सामने आई। गांव के सत्यम कुमार ने मृतक महिला के पति को पांच हजार रुपये की आर्थिक सहायता दी। इसके बाद शव का अंतिम संस्कार हो सका। वहीं, राजेपुर गांव निवासी ऋषि कटियार शनिवार को ओलावृष्टि के बाद अपनी मक्का और आम की फसल देखने गए थे। बर्बाद हुई फसल देखकर उनकी हालत बिगड़ गई और वह बेहोश हो गए।
परिजन उन्हें सीएचसी बिल्हौर ले गए। वहां से उन्हें कानपुर के लिए रेफर कर दिया गया। कानपुर ले जाते वक्त उनकी मौत हो गई। बिल्हौर विधायक भगवती सागर, डीएम कानपुर नगर ब्रह्मदेव राम तिवारी, सीडीओ सुनील कुुमार, एसडीएम बिल्हौर साईं तेजा आदि पीड़ित परिवारों से मिलने उनके गांव पहुंचे। पीड़ित परिवारों को अफसरों ने हरसंभव मदद दिलाने का भरोसा दिया है।
शव देख फूट-फूट कर रोए परिजन
शनिवार को बंभियापुर गांव में हुई भीषण ओलावृष्टि में पेड़ के नीचे दबकर जान गंवाने वाले बृजेंद्र कुमार का शव पोस्टमार्टम के बाद रविवार को घर पहुंचा। शव पहुंचते ही परिजनों और पड़ोसियों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया। इस दौरान डीएम, सीडीओ, विधायक समेत कई अफसर गांव पहुंचे। डीएम ने आश्वासन दिया कि लेखपाल और राजस्व निरीक्षकों से सभी गांवों का निरीक्षण कराकर विशेष पैकेज के तहत आर्थिक मदद दी जाएगी। डीएम ने मृतक के परिजनों को चार लाख रुपये की आर्थिक सहायता और घायल के इलाज का पूरा खर्च उठाने का आश्वासन दिया।