कोरोना लॉकडाउन के मुश्किल समय को आसान बनाने के लिए कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने कई पहल की हैं। एक ओर जहां कर्मचारियों को राहतें प्रदान की गई हैं तो दूसरी ओर कंपनियों को भी रियायतें दी गई हैं। बुधवार को अमर उजाला देहरादून के फेसबुक लाइव में पीएफ कमिश्नर मनोज कुमार यादव ने कोरोना लॉकडाउन के बीच कोविड एडवांस सहित तमाम सुविधाओं की जानकारी दी। उन्होंने इस दौरान पूछे गए सवालों के जवाब भी दिए।

क्या है कोविड एडवांस
कोविड एडवांस के तहत पीएफ फंड के बैलेंस का 75 प्रतिशत या तीन महीने की सैलरी के बराबर पैसा निकाल सकते हैं। मसलन, अगर किसी का वेतन 10 हजार रुपये प्रति माह है और उसका पीएफ बैलेंस एक लाख रुपये है तो 75 प्रतिशत के हिसाब से 75 हजार रुपये और वेतन के हिसाब से 30 हजार रुपये होता है तो 30 हजार रुपये मिलेंगे। पीएफ निकासी के लिए ईपीएफओ की ओर से दो से तीन दिन का समय लिया जाता है।

उमंग ऐप या वेबसाइट से करें आवेदन
पीएफ निकासी के लिए उमंग ऐप सबसे आसान विकल्प है। यह सबसे सरल है। इसके अलावा ईपीएफ इंडिया डॉट कॉम पर ऑनलाइन निकासी फॉर्म भर सकते हैं। एडवांस एप्लाई करने के बाद यह केंद्रीय कार्यालय जाता है, इसके बाद देहरादून में आ जाता है। पीएफ कमिश्नर ने कहा कि हम लोग कोशिश करते हैं कि 48 घंटे के भीतर प्रॉसेस कर दी जाए।

1.60 करोड़ के दावे निपटाए
लॉकडाउन के बाद दो अप्रैल से पीएफ का कार्यालय खुला था। 68 एल एडवांस को ऑटोमैटिक कर दिया है। सभी क्लेम ऑनलाइन ऑटोमैटिक हो जाते हैं। जो किसी कमी की वजह से सिस्टम से ऑटोमैटिक नहीं हो पा रहे हों, उन्हें फिजिकल प्रॉसेस से पूर्ण किया जाता है। तीन मई तक का पूरा क्लेम निपटाया जा चुका है। अब तक हम 25 हजार पीएफ के दावे निपटा चुके हैं। इसमें अब तक एक करोड़ 60 लाख रुपये का पीएफ निकासी हो चुकी है। लगातार 600 से 700 दावे रोजाना आ रहे हैं।

पैसा कम पड़े तो एडवांस का भी विकल्प
कोविड एडवांस के तहत पैसा निकालने के बाद भी अगर घर की किसी जरूरत जैसे बच्चों की फीस, मेडिकल, घर आदि के लिए पैसे की जरूरत पड़े तो पीएफ से निकाला जा सकता है। अगर पुरानी कंपनी का पीएफ खाते का पैसा अभी तक नए खाते में नहीं आया है तो इसके लिए भी खुद ही ऑनलाइन आवेदन किया जा सकता है।

कंपनियों को मिली हैं कई रियायतें
ईसीआर फाइल करते वक्त पैसा तुरंत जमा कराना फिलहाल अनिवार्य नहीं है। आप अपना ईसीआर फाइल कर दें और पेमेंट 15 मई तक कभी भी कर सकते हैं। अगर किसी को ईसीआर फाइल करना है तो उसमें पैसा जमा कराने से पहले तक एडिटिंग कराई जा सकती है। 24 परसेंट का अनुदान प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत दिया जा रहा है, अगर किसी ने जानकारी के अभाव में वह पैसा खुद जमा करा दिया है तो उसे उसका लाभ मिलेगा। उनका यह पैसा एडजस्ट किया जाएगा। इसके लिए सॉफ्टवेयर में बदलाव किया जाएगा। मार्च महीने का जो अंशदान 15 अप्रैल तक जमा कराना था, वह भी 15 मई तक जमा करा सकते हैं। इस पर कोई पेनल्टी नहीं ली जाएगी।

लाइफ सर्टिफिकेट जमा न करने वाले बैंक की करें शिकायत
लाइफ सर्टिफिकेट जमा कराने की समय सीमा अब निर्धारित नहीं है, साल में कभी भी जाकर जमा करा सकते हैं। हमारा एसबीआई और पीएनबी के साथ एग्रीमेंट है। इसमें साफ लिखा गया है कि पेंशनर जिस ब्रांच से पेंशन ले रहा है, वहां की जिम्मेदारी है। बैंक को बोलें कि उनका लाइफ सर्टिफिकेट जमा कराएं, वह नहीं करते तो उनकी शिकायत यहां करें। इसके अलावा ईपीएफओ देहरादून में सभी औपचारिकताएं पूरी करने की सुविधा है।

कंपनियों पर फिलहाल कार्रवाई नहीं
पीएफ चोरी करने वाली कंपनियों को भी कोरोना लॉकडाउन के बीच फिलहाल राहत दी गई है। पीएफ कमिश्नर मनोज कुमार यादव ने बताया कि फिलहाल इन सभी कंपनियों पर कार्रवाई नहीं की जाएगी। लॉकडाउन के बाद नियमानुसार एक्शन लिया जाएगा।

वेतन, पीएफ न देने की करें शिकायत
कोई वेतन नहीं दे रहा है तो अपने नजदीकी श्रम अधिकारी को इसकी शिकायत करें। अगर कोई पीएफ का लाभ नहीं दे रहा है तो वह भी ईपीएफओ तक उसकी शिकायत जरूर पहंुचाएं।

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