अयोध्या में भगवान श्रीराम के भव्य मंदिर निर्माण के लिए भूमिपूजन व शिलान्यास के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश को संबोधित करते हुए सभी देशवासियों को इस यादगार अवसर की बधाई दी। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में यह राम मंदिर हमारी राष्ट्रीय भावना का प्रतीक बनेगा क्योंकि मंदिर निर्माण का मार्ग लाखों-करोड़ों लोगों के सहयोग से प्रारम्भ हो रहा है। आज सदियों पुराना सपना साकार हो रहा है। आज का दिन त्याग, तप और संघर्ष का प्रतीक है।

आज पूरा विश्व राममय हो गया है। दुनिया भर में फैले करोड़ों राम भक्त गर्व व आनंद का अनुभव कर रहे हैं। राम मंदिर निर्माण से न सिर्फ अयोध्या का आकर्षण बढ़ेगा बल्कि नगर का अर्थतंत्र भी बदलेगा। यहां नए-नए अवसर खुलेंगे।
उन्होंने राम की महिमा का वर्णन करते हुए कहा कि तुलसी के राम सगुण राम हैं। नानक और कबीर के राम निर्गुण राम हैं। अयोध्या बुद्ध और जैनधर्म की धुरि रही है। तमिल में कंब रामायण तो कश्मीर में रामवतार चरित मिलेगा। मलयालम में रामचरितम है तो गुरु गोविंद सिंह ने खुद गोविंद रामायण लिखी है। राम सब जगह भिन्न-भिन्न रूपों में मिलेंगे लेकिन वो एक हैं। अनेकता में एकता के स्वरूप हैं। दूसरे देशों के नागरिक भी खुद को राम से जुड़ा मानते हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, विश्व के सबसे बड़े इस्लामिक देश इंडोनेशिया में रामायण के कई रूप हैं और राम पूजनीय हैं। कंबोडिया, मलेशिया, थाईलैंड, इरान और चीन में भी राम के प्रसंग और राम कथा का विवरण मिलता है। श्रीलंका में जानकी हरण के नाम से कथा सुनाई जाती है। नेपाल तो माता जानकी से आत्मीय रूप से जुड़ा हुआ है। आज भी दर्जनों देश ऐसे हैं जहां वहां की भाषा में रामकथा आज भी प्रचलित है।
‘करोड़ों लोग राममंदिर बनता देख आनंद महसूस कर रहे हैं’
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि आज देश में करोड़ों लोगों को राम मंदिर निर्माण का कार्य शुरू होने से सुखद अनुभूति हो रही है। मुझे विश्वास है कि श्रीराम नाम की तरह ही बनने वाला मंदिर अनंत काल तक पूरी मानवता को प्रेरणा देता रहेगा इसलिए हमें यह सुनिश्चित करना है कि हमारी हजारों सालों की परंपरा का संदेश विश्व भर में पहुंचे। उन्होंने कहा कि इन्हीं बातों का ध्यान रखते हुए भगवान राम के चरण जहां पड़ें वहां राम सर्किट का निर्माण किया जा रहा है।

अयोध्या का बखान भगवान राम ने स्वयं किया है कि मेरी जन्मभूमि अयोध्या अलौकिक सुख की खान है। हमारे यहां शास्त्रों में कहा गया है कि पूरी पृथ्वी पर राम के जैसा नीतिवान शासक कभी हुआ ही नहीं। कोई भी दुखी न हो, गरीब न हो यही भगवान राम का उद्देश्य था। नर-नारी सभी समान रूप से सुखी हों। भगवान राम का संदेश है कि बुजुर्गों व बच्चों की सदैव रक्षा होनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि हमें सबका विकास करना है और सबका विश्वास जीतना है। यही राम की प्रेरणा है। मुझे पूरा विश्वास है कि हम सब आगे बढ़ेंगे और देश आगे बढ़ेगा। भगवान राम का यह मंदिर युगों-युगों तक लोगों को प्रेरणा देता रहेगा। उन्होंने कहा कि कोरोना के इस दौर में भगवान राम की मर्यादा की सीख और भी जरूरी है। आज की मर्यादा है दो गज की दूरी। आप सभी को इसका पालन करना है जिससे कि हम इस मुश्किल वक्त में खुद को सुरक्षित रख सकें।
‘राम का मार्ग मानवता का मार्ग’
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि श्रीराम का मार्ग मानवता का मार्ग है। श्रीराम हमारे देश के संस्कृति पुरुष हैं। हमारा देश जितना ताकतवर होगा, उतना ही शांतिपूर्वक और सुखपूर्वक रहेगा। राम का चरित्र ही गांधी के रामराज्य का आधार है। गांधी जी ने ऐसे ही रामराज्य का सपना देखा था। हमने जब-जब मानवता का रास्ता चुनाव तब तब हमारा विकास हुआ। जब-जब भटके पतन हुआ।

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