कोरोना वायरस का संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पहले 24 मार्च को देश भर में लॉकडाउन का ऐलान किया और फिर 14 अप्रैल को फिर तीन मई तक इसे बढ़ाया गया था और अब 17 मई तक .

इस बीच, सरकार ने गरीब लोगो के लिए रेल सेवाएं व् अन्य तरह का परिवहन की सेवाएं शुरू करदी है ताकि वह सब घर पहुंच सके, पर ये सब कहा तक है सच.

जहा गरीबो के लिए रेलवे सेवाएं शुरू करी है वही उसमे इतनी खामिया है सारे नियम सिर्फ गरीबो के लिए. वही अमीरो के लिया वनदे मातरम मिशन के द्वारा अमीरो के कुत्तो तक के लिए प्रबंध किया गया है.

गरीब लोग एक पैदल चलकर, ट्रक में भेद बकरी की तरह भर के जा रहे है इनकी सुरक्षा का दायित्व किस पर.

आप देख सकते हैं कि कैसे एक गरीब पिता अपने बच्चे के साथ इस ट्रक पर चढ़ गया

इस फोटो में, आप देख सकते हैं कि किस सुरक्षा के साथ अमीर लोगों के कुत्तों को साक्षात्कार के लिए लाया गया था

एक और लोग हैं जो विदेशो में काम करते हैं उन्हें लिया सरकार कितना सोच रही है, वही अपने देश के मजदूर पैदल घर जाने के लिए मजबूर

इस फोटो में आप खुद देख सकते है की कैसे एक ट्रक में प्रवासी मजदूर घर जाने के लिए भेद बकरी की तरह एक दूसरे पे बैठे और सोये है

आखरी फोटो में देखिये की किस प्रकार इस तरह का भेदभाव लोगो के मन में द्वेष पैदा कर रहा है

गौरतलब है की सरकार अपने देश के प्रवासी मजदूरो के लिया सही कदम उठाये उन्हें सही सुरक्षा के तहत घर पहुचाये

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